प्रयागराज, संवाददाता : हापुड़ जिले के थाना धालौना के लेखपाल सत्येंद्र सिंह के खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के तहत प्रमाण – पत्र बनवाने के लिए आठ हजार रुपये रिश्वत मांगने के आरोप में मुकदमा पंजीकृत किया गया जबकि प्रमाण – पत्र पत्र वर्ष 2017 में ही लेखपाल के द्वारा जारी कर दिए गए थे।
पुनः शिकायतकर्ता प्रिंस ग्राम नेवादा जिला हापुड़ के द्वारा प्रमाडपत्र में फर्जीतरीक़े से कटिंग कर अपना रकबा बढ़ाने के प्रयास पर दोबारा लेखपाल ने करेक्शन नही किया और एसडीएम के पास भेजे जाने पर गुस्से में आकर शिकायतकर्ता ने प्रार्थना पत्र वर्ष 2018 में दिया था, और कूटरचित पुरानी वीडियो वायरल करने पर राजस्व निरीक्षक अजय पाल सिंह ने थाना धोलाना हापुड़ ने याची के विरुद्ध एफ आई आर दर्ज कराया।
याची के द्वारा 2022 में हाई कोर्ट में याचिका दाखिल करने पर हाइकोर्ट ने वायरल वीडियो के आधार पर याची पर मुकदमा पंजीकृत किये जाने व यांची से कोई भी रिकवरी नहीं होने पर याची की गिरफ्तारी पर हाई कोर्ट ने रोक लगा दी थी ।
स्पेशल जज (भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम) मेरठ के द्वारा सम्मन किए जाने पर याची ने सम्मन और चार्जशीट को चैलेंज किए जाने पर हाईकोर्ट ने याचिका याचिका 2022 में खारिज कर दी थी।
याची की ओर से अधिवक्ता सुनील चौधरी ने माननीय न्यायमूर्ति संजय कुमार सिंह को बहस में बताया कि यांची के बेटे व पत्नी की मृत्यु के उपरांत अपनी बहू की कैंसर के इलाज में और वह खुद बीमार होने पर न्यायालय में उपस्थित नहीं हो सका और ट्रायल में सहयोग करने को तैयार है। याची बेकसूर है।