वाशिंगटन, डीसी (यूएस), एजेंसी : इराक और सीरिया में लगातार हो रहे हमलों के बाद, अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन ने एक बयान जारी करते हुए कहा है कि अमेरिका मध्य पूर्व में संघर्ष नहीं चाहता है, लेकिन अगर किसी ने अमेरिकी को नुकसान पहुंचाया तो देश इसका जवाब देगा।
अमेरिकी राष्ट्रपति की यह कड़ी टिप्पणी मध्य पूर्व में बढ़ते हुए तनाव के जवाब में आई है। सीएनएन की रिपोर्ट के मुताबिक, संयुक्त राज्य अमेरिका ने इराक और सीरिया दोनों में मिलिशिया ठिकानों को निशाना बनाकर हवाई हमले शुरू किए हैं।
अमेरिका मध्य पूर्व दुनिया में नहीं चाहता संघर्ष- बाइडन
अमेरिकी राष्ट्रपति ने कहा, संयुक्त राज्य अमेरिका मध्य पूर्व या दुनिया में कहीं भी कोई संघर्ष नहीं चाहता है, लेकिन वे सभी जो हमें नुकसान पहुंचने की सोच रहे हैं, उन्हें यह जान लेना चाहिए कि यदि आप किसी अमेरिकी को नुकसान पहुंचाते हैं, तो हम इस पर कड़ी प्रतिक्रिया देंगे ।
यह ईरान समर्थित मिलिशिया के खिलाफ अधिक हमलों की एक श्रृंखला की शुरुआत है, जिन्हें क्षेत्र में अमेरिकी सैनिकों पर हमलों में फंसाया गया है। दो अमेरिकी अधिकारियों ने इन जवाबी हमलों के शुरू होने की पुष्टि की है।
बाइडन ने कहा कि, पिछले रविवार को ईरान के इस्लामिक रिवोल्यूशनरी गार्ड्स कॉर्प्स (आईआरजीसी) द्वारा समर्थित आतंकवादी समूहों द्वारा लॉन्च किए गए ड्रोन द्वारा जॉर्डन में तीन अमेरिकी सैनिक मारे गए थे। इससे पूर्व आज, मैं डोवर एयरफोर्स बेस पर इन बहादुर अमेरिकियों की वापसी में शामिल हुआ और मैंने उनके परिवार से बात की है।
हमारी प्रतिक्रिया जारी रहेगी- बाइडन
उन्होंने जोर देकर कहा, आज दोपहर, मेरे निर्देश पर अमेरिकी सैन्य बलों ने इराक और सीरिया में उन सुविधाओं को निशाना बनाया जिनका उपयोग आईआरजीसी और संबद्ध मिलिशिया अमेरिकी बलों पर हमला करने के लिए करते हैं। हमारी प्रतिक्रिया आज से शुरू हुई। यह हमारी पसंद के समय और स्थानों पर जारी रहेगा।
इस बीच, यूएस सेंट्रल कमांड ने कहा कि अमेरिका ने ईरान के इस्लामिक रिवोल्यूशनरी गार्ड्स कॉर्प्स (आईआरजीसी) कुद्स फोर्स और संबद्ध मिलिशिया समूहों के खिलाफ इराक और सीरिया में हवाई हमले किए।
सीएनएन से प्राप्त जानकारी के अनुसार, दो अमेरिकी रक्षा अधिकारियों के अनुसार, टारगेट सात स्थानों पर फैले हुए थे।