देहरादून, संवाददाता : चारधाम ऑल वेदर परियोजना के तहत स्वीकृत ऋषिकेश बाईपास निर्माण का काम 10 साल बाद अब शुरू होने जा रहा है। सैद्धांतिक स्वीकृति के बाद केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय (मोर्थ) ने परियोजना के एलाइमेंट को भी मंजूरी दे दी है।
परियोजना के पूर्ण होने से सरपट दौड़ सकेंगे वाहन
करीब 2160 करोड़ रुपये की इस परियोजना के पूरा होने से जहां चारधाम जाने वाले वाहन सरपट दौड़ सकेंगे, वहीं ऋषिकेश शहर को भी जाम के झाम से मुक्ति मिलेगी। परियोजना के तहत नेपालीफार्म से अमृतधारा तक बाईपास के 17.8 किमी एलाइनमेंट को मंजूरी दी गई है। नेपालीफार्म से ढालवाला तक फोर लेन एलिवेटेड सड़क बनेगी। ढालवाला से खारास्रोत तक यह सड़क पांच सुरंगाें से होकर गुजरेगी। पहली सुरंग ढालवाला से खारास्रोत तक 700 मीटर की बनेगी। इसके बाद चार सुरंगें सौ-सौ, दो सौ और तीन सौ मीटर की बनेंगी।
अधिशासी अभियंता राष्ट्रीय राजमार्ग खंड डोईवाला प्रवीण कुमार ने बताया कि कुल 1.4 किमी सड़क सुरंग मार्ग से गुजरेगी। उन्होंने बताया कि खरास्रोत के बाद सड़क का एकदम नया एलाइनमेंट हैं। उन्होंने बताया कि इस परियोजना की शुरूआत वर्ष 2013 में चारधाम ऑलवेदर परियोजना के साथ ही हुई थी, लेकिन अलग-अलग वजहों से यह लटकती चली गई। अब जाकर इसमें तेजी आई है।
इस परियोजना के पूर्ण होने के बाद ऋषिकेश शहर को जाम से मुक्ति मिल जाएगी। शहर में जाम की समस्या बीते कुछ सालों से विकराल रूप ले रही है। स्थिति यह है कि यात्राकाल और वीकेंड पर तीर्थयात्रियों, पर्यटकों और स्थानीय निवासियों को घंटों जाम से जूझना पड़ता है। सबसे बुरी स्थिति श्यामपुर फाटक, कोयल घाटी, त्रिवेणी घाट चौराहा, चंद्रभागा पुल से तपोवन तक रहती है।
केंद्र सरकार की ओर से परियोजना की सैद्धांतिक स्वीकृति और एलाइनमेंट पास होने के बाद अब डीपीआर बनाए जाने का काम किया जा रहा है। उम्मीद है कि जनवरी 2024 तक डीपीआर बनकर तैयार हो जाएगी। इसके बाद जमीन पर काम शुरू हो जाएगा। – दयानंद, चीफ इंजीनियर, एनएच लोनिवि, उत्तराखंड