चंडीगढ़, संवाददाता : ब्रिटेन के जाने-माने शीर्ष व्यवसायी और जीएसएफ कार पार्ट्स के एग्जीक्यूटिव चेयरमैन सुखपाल सिंह अहलूवालिया अब अपने वतन भारत लौटने की तैयारी में हैं। £6 मिलियन की कंपनियों को खड़ा करने वाले अहलूवालिया का यह कदम कारोबार से अलग, अपने वतन के लिए कुछ अच्छा करने की भावनाओं से प्रेरित है। सफल कारोबारी जीवन में उन्होंने यूरोप की सबसे बड़ी ऑटो पार्ट्स डिस्ट्रीब्यूशन कंपनी यूरो कार पार्ट्स बनाई (जो अब एलकेक्यू कॉर्पोरेशन का हिस्सा है)। इसके बाद उनके फैमिली ऑफिस ने यूके की दूसरी सबसे बड़ी कंपनी जीएसएफ ग्रुप को खरीदा। उनके नेतृत्व में कंपनी ने पहले ही साल में 22% की रिकॉर्ड ग्रोथ हासिल की, और इस साल भी 20% की और बढ़त की उम्मीद है।
अहलूवालिया का दिल अब अपने वतन के लिए धड़क रहा है
इन उपलब्धियों के बावजूद, अहलूवालिया का दिल अब अपने वतन के लिए धड़क रहा है। अपने वतन की मिट्टी से उनका गहरा पारिवारिक और भावनात्मक रिश्ता है। सुखपाल सिंह अहलूवालिया ने कहा, -;मेरे दोनों बेटों की शादी दिल्ली की बेटियों से हुई है। अब मैं भारत में अधिक समय व्यतीत करने की योजना बना रहा हूं। मेरा ध्यान अब समाज को कुछ लौटाने पर है। मैं हमेशा जानता था कि एक दिन भारत लौटूंगा। अब वक्त आ गया है कि मैं यहां कुछ अच्छा करूं, खासकर मेहनती युवाओं, महिलाओं और बच्चों की मदद के लिए।“
वे भारत और यूके के रिश्तों को और मजबूत करना चाहते हैं। उनके मन में बच्चों की शिक्षा, महिला सशक्तिकरण और सामाजिक कल्याण से जुड़े कार्यों को लेकर गहरी लगन है। साथ ही, वे भारत में क्लासिक कारों की संस्कृति को फिर से जीवित करने का सपना भी देख रहे हैं। अहलूवालिया की यह वापसी सिर्फ एक शख्स की नहीं, बल्कि उस सोच की है जो मानती है कि असली संतोष दूसरों की भलाई में है। सेवा भाव और वतन के प्रति प्रेम के साथ उनका अगला सफर शुरू हो चुका है, एक ऐसा सफर, जो आने वाली पीढ़ियों को भी प्रेरित करेगा।
अहलूवालिया जीएसएफ कार पार्ट्स के एग्जीक्यूटिव चेयरमैन हैं
सुखपाल सिंह अहलूवालिया की प्रोफाइल सुखपाल सिंह अहलूवालिया जीएसएफ कार पार्ट्स के एग्जीक्यूटिव चेयरमैन हैं, जो यूके की सबसे बड़ी और तेज़ी से बढ़ती कार पार्ट्स डिस्ट्रीब्यूटर कंपनी है। लंदन में रहने वाले अनुभवी भारतीय उद्यमी ने, 1978 में यूरो कार पार्ट्स की स्थापना की थी और इसे यूरोप की सबसे बड़ी वाहन पार्ट्स कंपनी में बदल दिया था। बाद में यह कंपनी 2011 में एलकेक्यू कॉर्पोरेशन द्वारा खरीदी गई।
वे डोमिनस ग्रुप के संस्थापक और नॉन-एग्जीक्यूटिव चेयरमैन भी हैं। यह एक पारिवारिक रियल एस्टेट और प्राइवेट इक्विटी फर्म है, जिसके पास £2.5 बिलियन से अधिक की संपत्ति है। इसके अलावा वे वीएआर कैपिटल (एक सम्मानित वेल्थ मैनेजमेंट फर्म) के फाउंडिंग शेयरहोल्डर और कॉन्सेप्ट वेंचर्स (यूके का सबसे बड़ा प्री-सीड टेक वेंचर कैपिटल फंड) में मुख्य निवेशक भी हैं। अहलूवालिया फैमिली फाउंडेशन के ज़रिए सुखपाल, यूके और भारत में शिक्षा, उद्यमिता और सामाजिक कार्यों को सक्रिय रूप से समर्थन देते हैं।