मुंबई, डिजिटल टीम : यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ शनिवार को वर्ल्ड हिंदू इकोनॉमिक फोरम-2024 में शामिल हुए। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने 2017 के बाद यूपी में आए समृद्धि की चर्चा की तो अन्य सरकारों की गलत नीतियों को भी आड़े हाथ लिया। सीएम ने महाकुंभ-2025 में सभी को आमंत्रित करते हुए कहा कि यह आस्था और आधुनिकता का प्रतिमान स्थापित करेगा। 40 करोड़ श्रद्धालु यहां आएंगे, इसके माध्यम से भी यूपी की ग्रोथ स्टोरी सुनने को मिलेगी। सीएम ने कहा कि यह नए भारत का नया उत्तर प्रदेश है, जिस यूपी की जीडीपी 2012 से 2017 तक महज साढ़े 12 से 13 लाख करोड़ की इकॉनमी थी, मार्च 2025 में यूपी 32 लाख करोड़ की इकॉनमी बनेगा।
मुख्य मंत्री के निशाने पर रहा विपक्ष और उनकी नीतियां
मुख्य मंत्री ने कहा कि पूर्व वित्त मंत्री पी. चिदंबरम 2007 में उत्तर प्रदेश आए थे। पी.चिदंबरम ने अपनी पुस्तक ऐन आउटसाइड व्यूः व्हाई गुड इकोनॉमिक्स वर्क फॉर इवरीवन के लोकार्पण में कहा था कि भारत कभी भी संपन्न देश नहीं रहा। देश में सदा गरीबी थी और आज भी है। भारत में घी-दूध की नदियां और उसके सोने की चिड़िया होने के मिथक पर आधारित पुस्तकों को जला देने की आवश्यकता है। ऐसे नियंताओं से क्या उम्मीद हैं। यह राम, श्रीकृष्ण को मिथक और भारत की विरासत को अपमानित करते हैं।
भारत में बहुसंख्यक समाज के हितों की चर्चा हुई तो विपक्ष को लगा बुरा
मुख्य मंत्री योगी ने कांग्रेस नेतृत्व में विपक्ष पर हमला करते हुए कहा कि इन लोगों ने राज्यसभा के सभापति उप राष्ट्रपति के खिलाफ नोटिस दी है। यह लोग सच बोलने वाले को महाभियोग का धौंस देकर उसके मुंह को बंद करने का प्रयास करेंगे, फिर भी संविधान की दुहाई देंगे। यह इनका दोहरा चरित्र है। इलाहाबाद उच्च न्यायालय के माननीय न्यायमूर्ति ने समान नागरिक संहिता की बात कही। दुनिया में बहुसंख्यक समाज की भावना का सम्मान हर हाल में होता है। भारत में बहुसंख्यक समाज के हितों की चर्चा हुई, किसी ने सच्चाई बोली तो कौन सा अपराध हुआ। राज्यसभा में इन लोगों ने माननीय न्यायमूर्ति के खिलाफ महाभियोग की नोटिस दी है। यह खुद को लोकतांत्रिक कहते हैं। संविधान की पुस्तक साथ लेकर चलते हैं, लेकिन इन्हें शर्म नहीं है। यह संविधान का गला घोंटने वाले लोग हैं।
देश में समान नागरिक कानून होना चाहिए
मुख्य मंत्री योगी ने कहा कि देश में समान नागरिक कानून होना चाहिए। दुनिया में बहुसंख्यक समाज जो कहता है, व्यवस्था वैसे संचालित होती है। भारत कह रहा है कि अल्पसंख्यक व बहुसंख्यक का भेद समाप्त होना चाहिए। बहुसंख्यक समाज कह रहा है कि अल्पसंख्यक व बहुसंख्यक का भेद समाप्त होना चाहिए, लेकिन यह लोग धौंस दे रहे हैं। यह लोग संविधान का गला घोंटकर जबरन अपने दम पर देश की व्यवस्था चलाना चाहते हैं। देश तमाशा देख रहा है। इन्हें एक्सपोज किए जाने की आवश्यकता है।
भारत की जीडीपी में 9.2 फीसदी हिस्सेदारी दे रहा उत्तर प्रदेश
सीएम योगी ने कहा कि यूपी की पहचान बदलने के लिए हमें रिफॉर्म करने पड़े। हमने हर सेक्टर में कार्य प्रारंभ किया। जब हम आए थे तो यूपी दसवीं अर्थव्यवस्था थी। अब यह देश की जीडीपी में 9.2 फीसदी हिस्सेदारी दे रहा है। हमने यूपी के 75 में से 57 जनपदों के यूनिक प्रोडक्ट को पहचान दी।पिछली सरकार खुद को समाजवादी कहती थी, लेकिन बर्मिंघम की बग्घी में बैठकर गौरवन्वित होती थी। 2017 में जब हमारी सरकार आई तो भारत की प्रति व्यक्ति आय एक तिहाई इनकम यूपी की रह गई थी। आज यूपी सिर्फ एमएसएमई से ही दो लाख करोड़ का एक्सपोर्ट हो रहा है। यूपी आज भारत की ग्रोथ इंजन बनने की दिशा में तेजी से बढ़ा है।