लखनऊ,रिपब्लिक समाचार,संवाददाता : माफिया अतीक अहमद के बेटे असद अहमद और शूटर गुलाम की झांसी जिले में हुई मुठभेड़ की जांच दो सदस्यीय न्यायिक आयोग के हवाले कर दिया गया है। इस मुठभेड़ को लेकर तरह तरह के सवाल विपक्षी पार्टिया उठा रही हैं , जिसके तथ उत्तर प्रदेश राज्य सरकार ने यह कदम उठाये गए है। असद व गुलाम बसपा विधायक राजू पाल हत्याकांड के गवाह उमेश पाल की हत्या के मुख्य आरोपी थे। उधर, अतीक -अशरफ प्रकरण में आज सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई होनी है।
सरकार ने हाईकोर्ट के सेवानिवृत्त न्यायमूर्ति राजीव लोचन मेहरोत्रा को आयोग का अध्यक्ष, जबकि पूर्व डीजी विजय कुमार गुप्ता को सदस्य बनाया गया है। आयोग 26 अप्रैल को झांसी जाकर इस प्रकरण की जांच शुरू कर सकता है। मालूम हो कि प्रयागराज में 15 अप्रैल को पुलिस अभिरक्षा में माफिया अतीक और उसके भाई अशरफ की बदमाशों ने गोली मारकर हत्या कर दिया था । इस प्रकरण की जांच के लिए भी सरकार ने तीन सदस्यीय न्यायिक आयोग का गठन किया है।
वहीं, इस के पहले 13 अप्रैल को झांसी के बड़ागांव थानाक्षेत्र स्थित पारीछा बांध के पास एसटीएफ ने असद और गुलाम को मुठभेड़ में मार गिराया था। दोनाें के पास से अत्याधुनिक ब्रिटिश बुलडॉग रिवाल्वर और पी-88 वॉल्थर पिस्टल भी बरामद किया गया था । एनकाउंटर के बाद डीएम झांसी ने सिटी मजिस्ट्रेट अंकुर श्रीवास्तव को मजिस्ट्रेटी जांच सौंपी थी। फिर भी विपक्षी दलो द्वारा इस मुठभेड़ पर तरह तरह के सवाल उठाते हुए उच्चस्तरीय जांच की मांग का समर्थन करते रहे हैं ।