नई दिल्ली, संवाददाता : वायु प्रदूषण के चलते लोगों की सांस फूल रही है। ऐसे में लोग इंडोर पौधे घरों के भीतर वायु प्रदूषण के खिलाफ चौकीदार की भूमिका निभा रहे हैं और इसके साथ ही शुद्धि वायु दे रहे हैं। स्नेक प्लांट, स्पाइडर प्लांट एरिका पाम,की नर्सरी में मांग बढ़ गई है। ये पौधो से हवा में हानिकारक गैसों और धूल कणों को अवशोषित कर पौधे ऑक्सीजन देते रहते हैं।
स्नेक प्लांट 24 घंटे सोखता है कार्बन डाई ऑक्साइड
स्नेक प्लांट पेड़ तो 24 घंटे कार्बन डाई ऑक्साइड सोखता रहता है और बदले में लगातार ऑक्सीजन देता रहता है। विशेषज्ञों का कहना है कि प्रदूषण के इस घाव को हरियाली के द्वारा ही भरा जा सकता है। बढ़ते प्रदूषण के खिलाफ पेड़-पौधे कवच बने हैं।
दिल्ली में फैक्ट्रियों व पराली, वाहनों के धुएं से हवा वर्तमान समय में जहरीली हो गई है। वातावरण में दूषित हवा शरीर के लिए काफी हानिकारक होती है। ऐसे में लोग घर के अंदर कुछ पौधे रखकर हवा को साफ कर रहे हैं। विशेषज्ञों के अनुसार , वातावरण प्रदूषित होता है तो स्वास्थ्य पर असर डालत्ता है। ऐसे में यह पौधे घर के अंदर के प्रदूषण की रोकथाम में मददगार बनते हैं।
पर्यावरण विदो के मुताबिक , स्नेक प्लांट इंडोर प्लांट है। यह पौधा कम पानी की आवश्यकता होती है और बिल्कुल कम देखरेख में विकास करता है। इसकी सबसे अधिक मांग होती है। हफ्ते में दो बार पानी देने और 15 दिन में एक बार पौधे की सफाई करनी होती है।
पौधों को खरीदने के लिए लोग आ रहे
आईटीओ स्थित दिल्ली पर्यावरण विभाग की नर्सरी में लोग दूर-दूर से पौधों खरीदने पहुंच रहे हैं। उसमें भी इंडोर पौधों लेने वालों की अधिक संख्या है। रोहिणी से पौधे खरीदने आए रोहित ने बताया कि प्रदूषण का असर घर पर भी देखने को मिल रहा है। घर में बुजुर्ग माता-पिता हैं, जिससे उन्हें प्रदूषण से बचाना बहुत जरूरी है। वह कहते हैं कि उन्हें सोशल मीडिया में कुछ पौधों के बारे में जानकारी मिली थी, ऐसे में वह इन्हें खरीदने पहुंचे। उस्मानपुर से दोस्तों के साथ पहुंचे मनजीत ने कहा कि प्रदूषण काफी बढ़ गया है। ऐसे में वह इंडोर पौधों को लेने आए हैं। वह कहते हैं कि इन पौधों से कुछ हद तक प्रदूषण से निपटने में मदद मिलती है।